जय श्री राम सखियों और सखाओ। आज इंडोनेशिया की एक कहानी आपके लिए लेकर आयी हु। पूरी कहानी जरूर पढ़ना।
Image: Fix the Court
इंडोनेशिया के जज मरज़ुकी, एक बूढ़ी महिला के चोरी के मामले की सुनवाई कर रहे थे।
बूढी महिला से पूछा गया की उसने चोरी क्यों की ?
बूढ़ी महिला ने अपना गुनाह कबूल कर लिया था कि उसने एक बाग़ से कुछ मांड चुराई थी। फिर उसने गिडगडाते हुए जज से प्रार्थना की, "जज साहब, मैं बहुत गरीब हूँ, मेरा बेटा बीमार है, मेरा पोता बहुत भूखा था, इसलिए मज़बूरन चोरी कर बैठी। "
बाग़ का मालिक बोला, "जज साहब, इसे कड़ी सज़ा दो ताकि दूसरों को नसीहत मिले।"
जज ने सारे पेपर जांच करने के बाद, नज़र ऊपर उठाई और बूढ़ी महिला से कहा, "मुझे बहुत दुःख है, परन्तु मैं कानून से नहीं हट सकता। इसलिए, तुम्हे क़ानून के तहद सज़ा ज़रूर मिलेगी। क़ानून में तुम्हारे इस अपराध की सज़ा है एक सौ रुपये जुर्माना और ये जुर्माना ना देने पर ढाई साल की जेल।"
बूढ़ी महिला रोने लगी क्योंकि वो जुर्माना नहीं भर सकती थी। और वह जेल भी नहीं जा सकती थी क्यों की घरमे उसके बीमार बेटे की सेवा के लिए कोई नहीं था और छोटे पोते का खयाल उसे और दुखी कर रहा था।
तब जज साहब ने अपने सर से अपनी टोपी उतरी और उसमें 11 रूपये डाल कर बोले, " सच्चे न्याय के लिए, जो लोग इस अदालत में हाज़िर हैं वो हर एक साढ़े पांच रुपये जुर्माने के तौर पर दें। शहर के नागरिक के रूप में सबका जुर्म है कि क्यों एक मासूम बच्चा भूखा रहा और इस बूढ़ी गरीब महिला को चोरी तक करने पर मज़बूर होना पड़ा।" कोर्ट के रजिस्ट्रार को हिदायत है कि वो सब उपस्थित लोगों से ये जुर्माना ले लें।
सबके दिए गए रुपये मिला कर 350 रुपये की रकम इकठ्ठी हुई जिससे जुर्माने की रकम काटने के बाद, शेष बचे 250 रुपये उस बूढ़ी महिला को दे दिए गए ताकि वो अपने बीमार बेटे का इलाज करा सके और अपने पोते का खयाल रख सके।
वैसे इस कहानी में जो सार छुपा है उसे अगर हर देश की सरकार ध्यान में रखे तो कोई भी बच्चा भूखा नहीं रहेगा और कोई चोरी नहीं करेगा। उस हिसाब से कानून बनाना हर सरकार का दायित्व है।
खैर सरकार अपना काम करे या न करे उन जज साहब ने कोर्ट में मौजूद सबसे जुर्माना लिया इसका तात्पर्य यह है की हम जिस समाज में रहते है उस समाज को अच्छा बनाये रखना ये सबकी जिम्मेदारी है और समाज में रहने वाला कोई भी व्यक्ति भूखा न रहे इसके लिए हमने हमारे आसपास के गरीब भूखे लोगो को जरुरत की चीजे और खाना देते रहना चाहिए।
भलाई करने के लिए सरकार कौनसी है ये थोड़ी न देखा जाता है बस भलाई करते वक्त ये ध्यान में रखना है की सब तरफ सांवरिया सरकार का राज है।
अगर आपको भी यही लगता है की हमने एक दूसरे की सहायता करते रहना चाहिए तो फिर एक बार कमेंट में किसीकी भी सहायता की हो तो जरुर अपना अनुभव लिखिए ताकि पढ़ने वाले सभी सहायता करने के लिए प्रेरित हो और इसी ब्लॉग में आपकी भी कहानी आपको फीचर करते हुए लिखूंगी। पढ़ने के लिए धन्यवाद।
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